किशनगंज।इम्यूनिटीबढ़ानेमेंकारगरमानीजानेवालीग्रीनवब्लैकटीकीकोरोनाकालमेंदेश-विदेशमेंमांगबढ़नेसेउसकीकीमतमेंउछालआगईहै।इससेयहांकेचायउत्पादनमेंवृद्धिहुईहै।वहींकिसानोंकीआयमेंभीबढ़ोतरीदेखीजारहीहै।पहलेजहांकिशनगंजमेंउत्पादितचायकीपत्तीतोड़करकिसानऔसतन10-12रुपयेप्रतिकिलोकीदरसेचायमिलकोबेचतेथे।वहींकोरोनाकालमेंयहदरचारगुनीबढ़कर40-45रुपयेप्रतिकिलोतकपहुंचचुकीहै।टीबोर्डकेअधिकारियोंकाकहनाहैकिकोविड-19केकारणचीनसेविश्वकेकुछदेशोंकेसाथव्यापारिकरिश्तेखराबहोनेसेउन्होंनेचीनसेचायकानिर्यातपहलेसेकमकरदियाहै।इससेभारतकीचायकीमांगबढ़ीहै।इसकादेशकेअन्यचायबागानोंसहितकिशनगंजकेचायउद्योगपरसकारात्मकअसरदेखाजारहाहै।इसकाफायदाभारतकेचायउत्पादककिसानोंकोभीहोरहाहै।चायपत्तीकीदरबढ़नेसेकिसानोंकीसक्रियताबढ़गईहै।इनदिनोंवेपहलेकीतुलनामेंअधिकचायकीपत्तियांतोड़करफैक्ट्रियोंमेंपहुंचारहेहैं।इसकेएवजमेंवेअधिककीमतप्राप्तकररहेहैं।
निर्यातबढ़नेसेबढ़ीभारतीयचायकीमांग-
चीनकेसाथगलवनघाटीमेंहुईझड़पकेबादसेभारत-चीनकेरिश्तोंमेंकड़वाहटआईहै।साथहीचीनकेनगरसेकोविड-19केवायरसकेफैलनेऔरउसकेमहामारीकारूपधारणकरनेसेउसकेसाथकईदेशोंकेरिश्तेप्रभावितहुएहैं।कईदेशोंनेचीनसेनिर्यातकीजानेवालीवस्तुओंमेंकटौतीकरदीहै।चायपरभीइसकाअसरदेखाजारहाहै।चीनविश्वमेंचायकासबसेअधिकउत्पादनकरनेवालादेशहै।लेकिनइससमयबदलेहुएपरिदृश्यमेंवहांकीचायकुछगिनेचुनेदेशोंमेंहीनिर्यातकीजारहहै।लिहाजाविदेशोंमेंभारतकीचायकीमांगबढ़रहीहै।टीबॉर्डऑफइंडियाकेचायविकासपदाधिकारीविकासकुमारभीऐसाहीमानतेहैं।उनकाकहनाहैकिचायउद्योगमेंआएइससकारात्मकबदलावसेउसकीगुणवत्तामेंभीसुधारआयाहै।
25हजारहेक्टेयरमेंहोरहीखेती,10हजारकिसानोंकोमिलेगालाभ
-बिहारकोचायउत्पादकराज्योंमेंशुमारकरनेवालेकिशनगंजजिलेमेंलगभग25हजारहेक्टेयरमेंचायकीखेतीहोरहीहै।इसमें10हजारकिसानव50हजारश्रमिकसीधेतौरपरजुड़ेहैं।किसानसुबोधशंकरसिंहबतातेहैंकिवेलोगकरीब20वर्षोंसेचायकीखेतीकररहेहैं।लेकिनचायपत्तीकीदरमेंइतनीउछालकभीनहींदेखीगईथी।इसक्षेत्रमेंमार्चसेसितंबरकेबीचचायकाज्यादाउत्पादनहोताहै।लेकिनपूर्वमेंइसकेकामगारोंकोउसकीदरकममिलतीथी।लेकिनइसवक्तउन्हेंचायपत्तियोंकीदरपांचगुनेज्यादाहासिलहोरहीहै।पहलेयदा-कदाहीलागतसेथोड़ा-बहुतलाभमिलताथा।इसीतरहमांगकमरहनेसेकभी-कभीइसकीदरइतनीगिरजातीथीकिलागतखर्चभीनहींनिकलपाताथा।ऐसेमेंमौजूदाबदलावचायकेकिसानों,मिलमालिकोंसहितपूरेउद्योगकेलिएसमग्रतासेलाभकारीसिद्धहोरहाहै।